यह सच है तुम्हारे विरासत सियासत पर मेरा अधिकार हो गया है बहुत नेक दिल हो हमदर्द हो मुझे प्यार हो गया है
इस काबिल नहीं था तुम्हारा प्यार मिल गया है ऐसा महसूस हो रहा है जैसे कीचड़ में कमल खिल गया है खुद को खुशनसीब महसूस करने लगा है
हर वक्त मोहब्बत का जाम चाहता हूं तुम्हारे चेहरे पर मुस्कान चाहता हूं अपनी ख्वाहिशों पर, आपके प्यार का छाप चाहता हूं
तुम्हारे प्यार से जिंदगी सचमुच बदल गई है अरमानों की महफिल गिरते-गिरते सही मुकाम पर संभल गई है
हर सपना सच हो गया अब अच्छे से जीते हैं कोई कमी महसूस नहीं होती है बीते दिनों को सोचकर आंखें नम आज भी हो जाती है मगर इसमें खुशियों का मंजर रहता है
सच कह दो मुझसे प्यार करती हो क्यों बात इधर-उधर घुमाते हो अपने दिल की सच्चाई से रूबरू कराने में क्यों देर लगाती हो
प्यार का ख्वाब देखने लगे हैं अपनाने का हर तरीका आजमाने लगे हैं आपका इशारा हां मिला है अपनी मंजिल के करीब आने लगे हैं